बाबा  के 
चरणवा  में  
बाबा के चरणवा में काशी, मथुरा , अवध और वृंदावनवा न |
द्वारिका ,  पुरी ,  बदरी , रामेश्वर  बसे चारों
धमवा  न ||
हो ....बाबा के
................................
सरस्वती ,  गंगा ,  जमुना ,  कृष्णा ,  कावेरी |
नर्मदा ,  सिन्धु ,  सरयू  ,   और  
गोदावरी ||
बाबा के चरणवा में बसे सभी
मंगल और पावन नदिया न |
बहे ,  धोवे , और  छल – छल छलके  अमृत  जलवा  न
||
हो .......बाबा
.................
अष्ट  सिद्धि 
नव   निधि  सब 
राजे |
तीरथराज       प्रयाग       विराजे ||
बाबा के चरणवा में मिले
श्याम धवल और उज्जवल धरवा न |
बहे   त्रिवेणी  
की   धार ,   पुण्य   संगम  
थलवा   न ||
हो ......बाबा
.....................
दरश ,   परस ,   अरु   दंड - 
प्रनामा |
हरत     क्लेश    
देत      विश्रामा ||
बाबा के चरणवा में ऊपजे शुभ
,  सुखद,
सुंदर चारों फलवा न |
मिटे    पाप   
त्रयताप ,   होवे   
निर्मल   मनवा    न  ||
हो ........बाबा
...............  
रचना :-  ओम प्रकाश सिंह 
बाबा कुटी , १७३ , आनन्दपुरी , पटना -१    
1 comment:
पावन प्रसाद का सार्वजनिक स्थल पर वितरण करने के लिए,
आपको बहुत बहुत सादर नमस्कार ।
जै जै देवरहा हंस बाबा सरकार ।।
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